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कुटाई और चुदाई; ससुर बहु की चुदाई!

अपनी बदतमीज बहु को सबक सीखने के लिए पटना के रामलाल गोपाल जी ने उसे चोद डाला। उनका कहना है की उनकी बहु घर में जगह जगह हस्तमैथुन करती रहती है। जिस कारण पूरा घर चुत की बदबू से भरा पड़ा रहता है। उनका बीटा ऐसी बीवी पाकर काफी कुश है क्यों की वो कभी उसे चुदाई के लिए मना नहीं करती। पर बेचारे रामलाल गोपाल इस उम्र में ये सब झेल रहे है। बहु की सेक्स की भूक शांत और उसे मजा चखने के लिए उन्हें अपनी शर्म लाज सब भूलना पड़ा। उनकी कहानी ससुर बहु की चुदाई पूरी पढ़े और जाने कैसे उन्होंने कुटाई और चुदाई बहु के साथ की और उसकी कामवासना को संतुष्ट किया।

(लेखक रामलाल गोपाल की कहानी में लिखी भाषा समझने में मुस्खिल हो सकती है इसलिए हमने इस कहानी को सरल शब्दों में लिख दिया है।)


Sasur Bahu Chudai

हमारा नाम रामलाल गोपाल है। हम 62 साल के पटना के रहने वाले है। हमारे घर में बस ये बेटा और बहु रहता है। मेरे बेटे के शादी 1 साल पहले ही हुआ था पर उसकी शादी के बाद मुझे सुखी जीवन और बहु की सेवा नहीं मिली। हमारा बेटा तो बेशर्म था ही अब बहु भी बदतमीज आ गई। न मुझे सही से खाना मिलता और न पानी।

मेरी 23 साल की बहु अपनी जवानी के जोश में दिन रात बेटे के साथ सम्भोग करती रहती है। और अगर बेटा भी घर पर न हो तो तोरई ही गांड चुत में ले लेती है। मजबूरन बाद में उसी की सब्जी बना कर मुझे खिला देती है। पूरा घर बहु के गंदे पानी की बू से भरा रहता है।

एक तीन मुझे उसपर गुसा आया तो मैने बहु की गर्दन पकड़ी और उसे दिवार से चिपका दिया। उसके बाद मैंने उसके ब्लाउज में हाथ डाल कर अपने बूढ़े हाथो से उसकी जवान छाती को दबाना शुरू कर दिया। ये सब देख बहु घुसे से लाल हो गई।

(रामलाल जी ने अपनी बहु के काली चूचियों को खूब नोचा जिस कारण उसकी दोनों चूचिया लाल हो गई। साथ ही साथ बहु कामुक महसूस करने लगी। पर ये सब एक बूढ़े आदमी के साथ करते हुए उसे अच्छा नहीं लगा इसलिए उसे अपने ही ससुर को गालिया देना शुरू कर दिया। इस तरह Sasur Bahu Chudai शुरू हुई और रामलाल ने गुस्से में चुदाई शुरू कर दी।)

ससुर – क्या बात है बेटा इसी उम्र में इतने मोटे।

बहु – बहन के लवडे तेरा गला हुआ औजार अभी भी खड़ा होता है। मेरी छाती से हाथ हटा दे !!

ससुर (बहु की चूचिया और जोर जोर से दबाना शुरू कर देता है ) – हम्म्म अहह !! मममम !

बहु (जोर से ससुर का लिंग हाथ में दबोच कर बेदर्दी से दबाबते हुए ) – हम्म अब क्या हुआ बूढ़े शेर।

ससुर – हहहह !!

बहु मेरा धीरे धीरे खड़ा होता लिंग अपने हाथो में मेहुश करने लगी। अपने हाथो में मेरा भरा फुला लिंग इस उम्र में देख बहु हैरान परेशां रह गई। मेरा गर्म लिंग वो अपने एक हाथ से अलग अलग तरह से दबा कर उसे और खड़ा करने लगी। अब तक उसकी चुत भी लंड लेने के लिए परेशन होने लगी। मैं आगे बढ़ा और उसके होठो को चूमने लगा।

बहु मुझे चूमा नहीं चाहती थी इसलिए सुने अपने होठो को साथ चुपकाया और अपने मुँह को पूरा बंद क्र दिया। मैं जबरदस्ती उसके होठो को चूमने लगा और अपने बदबूदार मुँह से उसके सेक्सी होठो को चूसने लगा।

उसके बाद मैंने अपना हाथ उसकी ब्रा से बाहर निकला और दोनों हाथो को उसके पेटीकोट में घुसा कर उसकी गांड दबाने लगा। अह्ह्ह !! बहु ने भी मेरे लंड का स्वाद लेने के लिए मेरी धोती खोली और मेरा खड़ा लिंग अपने सुंदर बड़े बड़े नाखुनो वाले हाथ से हिलाने लगी।

उसके बाद हमने उसके उसके चूतड़ों को दबाया खोला और उनके बीच हाथ डालकर चुत गांड के दोनों छेदो को भी रगड़ा। बहु नीचे से गीली हुई जा रही थी तो हमने उसका सदी उतरना शुरू कर दिया।

साड़ी उतर कर उसको मैंने रोइया में गोड़ी किया और बहुत पेला। हमने उसे झुकाया और पीछे से अपने गले हुए लिंग को उसकी चुत में धकेलने लगा।

इस उम्र में हर मर्द की गोटिया लटकती है और मेरी भी लटक रही थी जिन्हे मैं जोर जोर से बहु के भोसड़े पर मार मार कर उसे चोद रहा था।

बहू – अहह अहह उह्ह्ह !!! अह्ह्ह सेल मादरचोद बूढ़े ! अहह

(बहु के मुँह से गालिया सुनकर रामलाल जी को हवस के साथ साथ गुसा भी आ गया उन्होंने अपनी बहु को घोड़ी बना कर जोर से चोदा और कभी उसके चूतड़ों पर चाटे लगाए तो उसकी नरम छाती पर। बहू को चोद चोद कर रामलाल जी ने उसे लाल कर दिया पर न चुत से पानी निकला और न ही उसकी गालिया बंद हुई। )

इसी तरह Sasur Bahu ki Chudai की चुदाई चलता रहा और बहुई मुझे गन्दी गन्दी गालिया देती रही। मैंने कुछ देर बाद उसे रसोई से निकाला और उसका ब्लौसे खोल कर उसे चटाई पर लेटा दिया। लेटा कर मैंने उसका पेरिकोट उठाया तो देखा चुत से गन्दी माली निकल रही थी।

मैंने झट से अपना लिंग कड़ा और उसे हिला हिला कर खड़ा करने लगा। खड़ा करते ही मैंने दोबारा उसको मलाईदार चुत के आदर घुसाया और बहु की चूचियों को नोच नोच कर चोदने लगा। चुत की सफ़ेद मलाई निकल कर मेरी गोटियों पर लग गई जो बार बार चुत पर चाटे लगा रही थी चुदाई के दौरान।

मेरे लंड को आनंद आ रहा था पर लटकते गोटो का दर्द इस ऊंट में साह नहीं जा रहा था। वो पुरे लाल हो चुके थे और कभी कभी चुदाई करते हुए जमीन पर भी टकरा रहे थे। उम्मीद है ये पढ़कर एके भी गोटो में दर्द होने लगा होगा। मैंने फिर भी बिना रुके बहु को चोदा और उसकी छाती चूस चूस कर लाल कर दी। बहु की आँखों से नमकीन आंसू और चुत से मीठा पानी निकले ही जा रहा था। इस तरह मैं उसकी कुटाई और चुदाई के साथ कर रहा था।

उसकी चूचिया सेक्सी थी। जवान चूचिया जैसे ही मेरे हाथ लगी मैंने तो उसे नोच नोच कर खूब चूसा और मोटी रसीली जांघो के बीच गीली चुत को लगातार चोदा। मेरा पतला शरीर बहु की रसीली चुत को चोदने जा रहा था। मेरे बूढ़े कुलखे जवान चुत चोदने के लिए मशीन की तरह चल रहे थे और घर में चुदाई की आवाजे गूंज रही थी।

बस कुछ ही देर में मेरे गोटे जोर से ठंडी जमीं पर लगे तो लिंग ने टोपे से पानी निकाल चुत में भर दिया। दर्द से मैं वही बहु की नरम छाती में मुँह घुसा कर कपङे लगा और बहु गहरी सासे लेती हुई मेरे गर्म लंड के पानी को महसूस करने लगी।

अचानक पीछे से किसी ने दरवाजा खोला और जब मैंने पीछे देखा तो वो मेरा बेटा था जो मेरी नंगी गांड देख घुसे से भर गया।


मित्रो ये था हमारा Sasur Bahu ki Chudai कहानी। ये थी हमारी risto me chudai ki kahani अगर आपको हमारा चुदाई कथा अच्छा लगा तो मुझे जरूर बताए।

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2 Comments

  1. Sasur log hotee hee sale tharki hai apne hee bete ki biwi ko kute ki njro se dekhte hai. madrchod budhe log. ye sex kahani kafi haad tk sachi bhi hai bs frk ye hai tharki budhe bs kuch kr nahee pate.

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